विधायक कुलदीप सिंह सेंगर की सजा पर दिल्ली की तीस हजारी कोर्ट में बहस शुरू

राजनीतिक

वर्ष 2017 में हुए उन्नाव दुष्कर्म मामले में दोषी करार दिए गए यूपी के विधायक कुलदीप सिंह सेंगर की सजा पर दिल्ली की तीस हजारी कोर्ट में बहस शुरू हो गई है। वहीं, यह भी कहा जा रहा है कि अगर सजा पर बहस पूरी हो गई तो मंगलवार को ही सजा का एलान भी सकता है।

यहां पर बता दें कि सोमवार को हुई सुनवाई में उन्नाव दुष्कर्म मामले में तीस हजारी कोर्ट ने उत्तर प्रदेश भाजपा से निष्कासित विधायक कुलदीप सेंगर को दोषी करार दिया, वहीं सहयोगी शशि सिंह को बरी कर दिया।

दोषी करार देने के दौरान न्यायाधीश धर्मेश शर्मा की कोर्ट ने पीड़िता को नाबालिग मानते हुए विधायक कुलदीप सिंह सेंगर को पॉक्सो एक्ट के तहत दोषी पाया। दोषी करार देने के साथ ही कोर्ट ने सजा पर बहस के लिए 19 दिसंबर का दिन तय किया था, लेकिन दोषी के वकील ने मंगलवार को ही बहस की अपील की। इस पर कोर्ट मंगलवार को सजा पर बहस सुनेगा।

यह है आरोप

सीबीआइ के आरोपपत्र के मुताबिक सेंगर ने 4 जून 2017 को अपने आवास पर दुष्कर्म किया था। शशि सिंह पर पीड़िता को नौकरी दिलाने के बहाने सेंगर के घर ले जाने का आरोप था। सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर मामला दिल्ली की तीस हजारी अदालत में स्थानांतरित किया गया था। अभी मामले में पीड़िता के पिता की हत्या व पीड़िता को ट्रक से कुचलने की कोशिश के मामले विचाराधीन हैं। पीड़िता के वकील धर्मेंद्र कुमार मिश्र ने फैसले को सच की जीत बताया तो सेंगर के वकील तनवीर अहमद मीर ने कहा कि फैसले के खिलाफ अपील करेंगे।

न्यायाधीश धर्मेश शर्मा  ने कुलदीप सिंह सेंगर को दोषी ठहराने का फैसला सुनाते वक्त सीबीआइ पर गंभीर टिप्पणी भी की। उन्होंने कहा कि  पीड़िता का बयान सत्य और बेदाग पाया। उसका यौन उत्पीड़न किया गया था। वह खतरे में थी और चिंतित थी। वह एक गांव की लड़की है, न कि किसी महानगर की। सेंगर शक्तिशाली व्यक्ति था और इसलिए पीड़िता ने अपना पक्ष रखने में समय लिया।

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