सीएम ने जनता दर्शन में 200 से अधिक लोगों के दर्द को सुना और उसके समाधान का आश्वासन दिया

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गोरखपुर,  पांच दिन के दौरे पर बीती 12 अक्टूबर को गोरखपुर पहुंचे योगी आदित्यनाथ ने अंतिम दिन शनिवार को गोरखनाथ मंदिर के हिंदू सेवाश्रम मे जनता दर्शन किया। इस दौरान उन्होंने 200 से अधिक लोगों के दर्द को सुना और उसके समाधान का आश्वासन दिया। इस दौरान वह अधिकारियों को भी इस बाबत निर्देश भी देते रहे कि जनता की समस्याओं के समाधान में किसी तरह की लापरवाही नहीं होनी चाहिए।

सुबह से ही लग गई थी फर‍ियाद‍ियों की भीड़

नवरात्र और विजयादशमी के परंपरागत आयोजनों में व्यस्त होने के चलते मंदिर में रहने के बावजूद मुख्यमंत्री बीते तीन दिन से जनता दर्शन नहीं कर पा रहे थे। हालांकि लोग आकर निराश न लौटें, इसके लिए उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दे रखा था। ऐसे मेें जनता दर्शन के लिए हिंदू सेवाश्रम में अधिकारी प्रतिदिन निर्धारित समय पर मौजूद रहते थे। शुक्रवार को जैसे ही मुख्यमंत्री आनुष्ठानिक कार्यक्रमों से निवृत्त हुए, शनिवार की सुबह ही जतना दर्शन को पहुंच गए।

गायों को खिलाया गुड़ व चना

गोरखपुर और आसपास के क्षेत्रों से आए लोगों ने उन्हें देखा तो लगा जैसे कि हर समस्या का समाधान मिल गया। मुख्यमंत्री जनता दर्शन में मौजूद हर पुरुष और महिला के पास खुद गए और उनकी समस्या सुनी, उससे जुड़ा आवेदन पत्र लिया। विभागवार वह उन आवेदनों को अधिकारियों के हाथों में देते रहे और निस्तारण के लिए सहेजते रहे। समस्या कहने आने वालों में महिलाओं की तादाद अधिक रही। इससे पहले मुख्यमंत्री की दिनचर्या परंपरागत रही। बाबा गोरखनाथ और अपने गुरु ब्रह्मलीन महंत अवेद्यनाथ के दरबार में हाजिरी लगाने के बाद उन्होंने मंदिर परिसर का भ्रमण किया। जनता दर्शन के बाद वह गो-सेवा के लिए गोशाला गए। हमेशा की तरह उन्होंने कुछ वक्त अपने श्वान कालू और गुल्लू के साथ भी गुजारा।

जनकल्याणकारी योजनाओं को लेकर संवेदनशील रहें अफसर

जनता दर्शन के दौरान जब कुछ महिलाओं ने आयुष्मान और आवास योजना का लाभ न मिलने की शिकायत की तो मुख्यमंत्री ने इसे काफी गंभीरता से लिया। उन्होंने अधिकारियों से कहा कि केंद्र और प्रदेश सरकार की जनकल्याणकारी योजनाओं के प्रति वह संवेदनशील रहे। कोई पात्र व्यक्ति इसका लाभ पाने से छूटना नहीं चाहिए। ऐसा सिद्ध होने पर संबंधित के खिलाफ कार्रवाई सुनिश्चित कीजिए।

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